दिल्ली में इस एचआर कॉन्क्लेव के साथ केका ने अपने चौथे कॉन्क्लेव का समापन किया है, जिसकी शुरुआत एचआर पेशेवरों को मजबूती देने के विजन के साथ हुई थी
टुडे एक्सप्रेस न्यूज़ । रिपोर्ट अजय वर्मा । दिल्ली, 28 फरवरी, 2023: हैदराबाद के अग्रणी एचआर टेक प्लेटफॉर्म केका ने 23 फरवरी को दिल्ली में अपने एचआर कॉन्क्लेव के चौथे चैप्टर का आयोजन किया। इस सभा के माध्यम से केका ने एचआर और व्यवसाय के गठजोड़ पर डिजिटल एचआर के असर और चुनौतियों पर बात की।
टेक्नोलॉजी ने हर सेक्टर में क्रांति की है और एचआर भी इससे अलग नहीं है। आज एचआर की पारंपरिक सेवाओं और प्रक्रियाओं की जगह डिजिटल एचआर ने मोबाइल, एनालीटिक्स और क्लाउड टेक्नोलॉजीज के जरिये ले ली है। डिजिटल एचआर के कारण संस्थाओं को हो रही चुनौतियों और उनके समाधानों ने दिल्ली में केका के रोचक एचआर कॉन्क्लेव की पृष्ठभूमि निर्मित की थी।
कॉन्क्लेव का बेहद महत्वपूर्ण लक्ष्य डिजिटल एचआर को क्षमतापूर्वक अपनाने और अपने लोगों से जुड़ने में संस्थाओं को होने वाली चुनौतियों पर बात करना था। एचआर सेक्टर के विशेषज्ञ लक्ष्यों की गलत दिशा, एकीकरण के अभाव, डाटा-चालित प्रभागों की कमी और अपर्याप्त संसाधनों जैसी चुनौतियों पर बात करने के लिये एकजुट हुए थे, जोकि एक संस्था में डिजिटल एचआर को अपनाने में होती हैं।
इस आयोजन की सफलता पर केका के सीईओ विजय यलामनचिली ने कहा, “दिल्ली में इस चौथे कॉन्क्लेव के साथ हमने एचआर कॉन्क्लेव की चार सीरीज पूरी की हैं, जिसकी शुरूआत संस्थाओं के अपने लोगों से बात करने के तरीके में क्रांति लाने के लक्ष्य से हुई थी। हमने एचआर पेशेवरों को एक मंच देने के लिये केका एचआर कॉन्क्लेव शुरू किया था, जहाँ वे समकक्षों के तौर पर एक साथ आ सकते हैं और सीखकर अगले स्तर पर पहुँच सकते हैं। मेरा पक्का यकीन है कि सामुदायिक निर्माण व्यवसायों को जीवंत बनाये रखता है। हमारे लिये कर्मचारियों का अनुभव ही सबकुछ है। हमारा पक्का मानना है कि सीएक्स और ईएक्स को जोड़ने से 10 गुना ज्यादा तरक्की होती है।”
उन्होंने आगे कहा, “मैं लगातार सहयोग देने और केका की तीन सीरीज वाली एचआर कॉन्क्लेव को बेहद सफल बनाने के लिये अपनी पूरी टीम को धन्यवाद देता हूँ। एचआर समुदाय को ऐसी चर्चाएं करते देखना रोमांचक था, जोकि आगे बढ़ने और विकसित होने में उनकी मदद करेंगी।”
केका के एचआर कॉन्क्लेव के दिल्ली चैप्टर में 150 से ज्यादा लोग आए थे। उसमें एक पैनल चर्चा भी हुई, जिसके पैनलिस्ट्स और संचालक थे जेबीएम ग्रुप में लर्निंग और ओडी के ग्रुप हेड सन्नी वर्मा, शेंकर इंडिया प्राइवेट लिमिटेड में भारत और भारतीय उपमहाद्वीप की चीफ पीपुल ऑफिसर रेणु बोहरा, क्लाउड एनालॉजी की ग्लोबल एचआर हेड दिव्या डांग और केका एचआर के लीड प्रोसेस स्ट्रेटजिस्ट क्षितिज सचान। केका के एचआर कॉन्क्लेव का अंतिम चैप्टर सकारात्मकता के साथ खत्म हुआ और एचआर लीडर्स ने डिजिटल एचआर पर जानकारियों से भरपूर बातचीत की। कॉन्क्लेव के दूसरे चैप्टर्स इसी साल अहमदाबाद और बेंगलुरु में आयोजित हुए थे।
केका के विषय में
विजय यलामनचिली द्वारा 2015 में संस्थापित केका 20 से लेकर 5000 तक कर्मचारियों वाली भारत की छोटी और मझोले आकार की कंपनियों के लिये अग्रणी एचआर टेक प्लेटफॉर्म है। केका की शुरूआत टेढ़े-मेढ़े इंटरफेसेस को छोड़कर आसान और सरल सॉफ्टवेयर समाधानों की पेशकश करते हुए कर्मचारियों के लिये बेहतरीन अनुभव निर्मित करने के मिशन से हुई थी। कंपनी 5 लोगों से शुरू हुई थी और अब उसकी टीम में 550 से ज्यादा लोग हैं। पीपुल प्रोसेसेस के ऑटोमेशन से लेकर जुड़ी हुई और गतिशील संस्कृति बनाने तक, केका के पास वह सबकुछ है, जो व्यवसायों को अच्छी से लेकर महान कंपनी बनने तक चाहिये होता है। सॉफ्टवेयर की मदद से एचआर टीमों को साधारण कामों में कम समय लगता है और वे संस्था की महत्वपूर्ण संपत्तियों पर ज्यादा ध्यान दे पाते हैं, जैसे कि लोग। केका आसानी से पेरोल, भर्ती, छुट्टी और उपस्थिति, प्रदर्शन प्रबंधन, आदि को स्ट्रीमलाइन और ऑटोमेट करती है। वह आईटी सर्विसेस, फार्मास्युटिकल्स, विनिर्माण, पेशेवर सेवा संस्था, लेखा, कराधान, फिन-टेक, आदि समेत विभिन्न सेक्टरों में 6500 से ज्यादा ग्राहकों तक पहुँचकर अपनी अमिट छाप छोड़ चुकी है। कंपनी अभी दुनियाभर में 1.5 मिलियन कर्मचारियों का पेरोल चलाती है।