इस संकट की घड़ी में जरूरतमंदों की मदद करने के लिए आगे आना चाहिए : सीएम मनोहरलाल

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Today Express News / Report / Ajay Verma / चंडीगढ़, 19 अप्रैल- हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने आज राज्य के विभिन्न विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और महाविद्यालयों के प्राध्यापकों से आग्रह किया कि वे सामाजिक जिम्मेदारी का निर्वहन करने की सच्ची भावना से प्रत्येक शिक्षक को इस संकट की घड़ी में जरूरतमंदों की मदद करने के लिए आगे आना चाहिए। मुख्यमंत्री ने आग्रह किया कि प्रत्येक विश्वविद्यालय और कॉलेज को अपने खर्च को केवल महत्वपूर्ण कार्यों के लिए सीमित करना चाहिए। उन्होंने दोनों राजकीय और निजी विश्वविद्यालयों तथा कॉलेजों से अपील की कि वे किसी भी छात्र को लॉकडाउन अवधि के दौरान फीस का भुगतान करने के लिए जोर न दें। मुख्यमंत्री आज यहां वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से विश्वविद्यालयों के कुलपतियों के साथ बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे।

मुख्यमंत्री ने विभिन्न शोधों का संचालन करने वाले विश्वविद्यालयों से अपील करते हुए कहा कि संकट की इस घड़ी में समाज की भलाई के लिए विश्वविद्यालयों को अपने अनुसंधान परियोजनाओं का उपयोग कोविड-19 की लड़ाई लडऩे के लिए करना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रत्येक विश्वविद्यालय को सोशल डिस्टेंसिग के मानदंडों का पूर्ण रूप से पालन करना चाहिए। उन्होंने कहा कि छात्रों की शिक्षा बाधित न हो, इसलिए हर विश्वविद्यालय और कॉलेज ऑनलाइन कक्षाएं जारी रखना सुनिश्चित करें। बैठक के दौरान, शिक्षकों ने बताया कि अधिकांश ने पहले से ही विभिन्न ई-लर्निंग प्लेटफॉर्म के माध्यम से ऑनलाइन कक्षाएं शुरू कर दी हैं। उन्होंने बताया कि छात्रों के साथ लाइव क्लासेस, ऑनलाइन वर्कशीट, पीपीटी प्रेजेंटेशन आदि चलाई जा रही हैं, ताकि छात्रों को उनके पाठ्यक्रम को कवर करने में मदद मिल सके। मुख्यमंत्री को अवगत कराया गया कि प्रत्येक शिक्षक यह सुनिश्चित करने के लिए समर्पित रूप से काम कर रहा है कि शिक्षा सामग्री और सभी शैक्षणिक सहायता उन बच्चों को भी दी जाए जिनके पास स्मार्टफोन नहीं है।

बैठक में बताया कि डिजिटल लर्निंग प्लेटफार्मों के माध्यम से, अधिकांश विश्वविद्यालयों और कॉलेजों ने 70 से 80 प्रतिशत पाठ्यक्रम को कवर कर लिया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि शिक्षक ऑनलाइन परीक्षा आयोजित करने की संभावनाएं तलाशी जाएं। उन्होंने कहा कि उच्च शिक्षा परिषद की बैठक जल्द ही आयोजित की जानी चाहिए ताकि परिक्षाओं को संचालित करने की योजना बनाई जा सके। बैठक में कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री संजीव कौशल, वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री टी.वी.एस.एन. प्रसाद, पशुपालन और डेयरी विभाग के प्रधान सचिव श्री राजा शेखर वुंडरू, उच्च शिक्षा और तकनीकी शिक्षा के महानिदेशक श्री अजीत बालाजी जोशी, कृषि विभाग के महानिदेशक श्री विजय सिंह दहिया, वित्त विभाग के सचिव श्री भूपेन्द्र सिंह और उच्च शिक्षा विभाग के अपर निदेशक श्री अरुण जोशी उपस्थित थे।

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