TODAY EXPRESS NEWS : फरीदाबाद,17 दिसंबर। जिला स्तरीय गीता जयंती महोत्सव के दूसरे दिन सोमवार को फरीदाबाद मंडलायुक्त डॉ अनुपमा ने गीता ग्रंथ के सामने दीप प्रज्वलित करके सेमिनार का शुभारंभ किया।उन्होंने सेमिनार के शुभारंभ से पूर्व उन्होंने सनातन संस्था, संस्कार भारती, जगन्नाथ मंदिर, हिंदू जनजागृति राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, ब्रह्मा कुमारीज, इस्लाम , सिद्धिदाता आश्रम, गोपाल गौशाला, विश्व हिंदू परिषद सहित विभिन्न संस्थाओं द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी का अवलोकन किया ।मंडलायुक्त ने जिला प्रशासन द्वारा लगाई गई सौर ऊर्जा विभाग, स्वास्थ्य विभाग, दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम, एचएसआईडीसी, शिक्षा विभाग ,कृषि एवं किसान कल्याण विभाग, पशुपालन एवं डेयरी विभाग, आयुष विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग, समाज कल्याण विभाग ,नगर परिषद, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, रेडक्रास सोसायटी और सड़क सुरक्षा द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी ओं का अवलोकन भी किया। इन प्रदर्शनियो के माध्यम से गीता ग्रंथ के संदेश को अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचाना और सरकार की जनकल्याणकारी नीतियों, योजना और परियोजना बारे लोगों को अवगत करवाना है। मंडलायुक्त डा0 जी अनुपमा ने सेमिनार में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि गीता अनंत ज्ञान का सागर है। दैनिक जीवन में थोड़ा सा भी सहारा बन जाए तो जीवन आनंद पूर्ण व्यतीत हो सकता है ।उन्होंने कहा कि जिस व्यक्ति को जो भी दायित्व मिले उसे गीता के संदेश के माध्यम का सहारा लेकर उसे पूरा करे तो निश्चित तौर पर उसमें सफलता मिलेगी। मंडलायुक्त डॉक्टर जी अनुपमा ने कहा कि सरकारी विभागों में कार्यरत अधिकारी एवं कर्मचारी कर्मचारियों का दायित्व है कि वे पब्लिक की अधिक से अधिक सेवा करके उनके कार्यों को पूरा ईमानदारी के साथ पूरा करना सुनिश्चित करें। जो अधिकारी व कर्मचारी इस दायित्व को ईमानदारी के साथ पूरा करता है, निश्चित तौर पर उसका जीवन सफल होता है। यह संदेश हमारे गीता ग्रंथ में भी सीधे तौर पर लिखा हुआ है।उन्होंने कहा कि गीता ग्रंथ सार्वभौमिक और सर्वकालिक है। गीता एक आदिव्य ज्ञान का सागर है। सेमिनार को संबोधित करते हुए भारत भूषण शर्मा ने शिक्षक के रूप में श्री कृष्ण के जीवनी के बारे में प्रकाश डाला। उन्होंने शिक्षक और शिष्य के कर्तव्य कोई बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी दी। कर्तव्य के पालन की प्रेरणा का सार गीता ग्रंथ में स्पष्ट शब्दों में लिखा हुआ है। इस्कॉन संस्था के डॉक्टर प्रभात शुक्ला ने भागवत गीता ग्रंथ की व्याख्या करते हुए कहा कि हर व्यक्ति ,हर वर्ग तक संदेश पहुंचाना ही गीता जयंती महोत्सव का मुख्य उद्देश्य है। उन्होंने कहा कि गीता ग्रंथ के सार में लिखा है कि हर व्यक्ति अपने आप में एक लीडर है। उन्होंने कहा कि गीता ग्रंथ दिव्य गुण संपन्न ग्रंथ है। प्रोफेसर रूद्र दत्त शर्मा ने गीता ग्रंथ के कर्म संस्कार के उपदेश के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी दी। राजकीय उच्च विद्यालय कोराही की छात्रा कुमारी मोनी ने श्री भगवत गीता का सार को अविस्मरणीय बताया। उन्होंने कहा कि एकाग्रता के बिना मनुष्य का मन शांत नहीं होता। मनुष्य को कर्मो के फल की चिंता कभी नहीं करनी चाहिए। धर्म और अधर्म की लड़ाई में गीता का सार हमेशा साथ देता आया है और आगे भी देता रहेगा। गीता अनंत ज्ञान का सागर है। डॉ वीके चंद्रशेखर ने श्री कृष्ण की 16 कला सम्पन्न और श्रीराम की 14 कला संपन्न गुणों बारे विस्तारपूर्वक जानकारी दी ।सेमिनार में ब्रह्म कुमारी की बहन पूनम जी ने गीता के ज्ञान में कहा कि किसी को गीता के ज्ञान में ज्ञान ना मिला उस शख्स को जिंदगी में क्या मिलेगा जब तक उसे इंसान में इंसान ना मिला। सेमिनार में प्रश्नोत्तरी का भी आयोजन किया गया। इस अवसर पर अतिरिक्त उपायुक्त जितेंद्र कुमार, एसडीएम फरीदाबाद सतबीर मान, एसडीएम बल्लभगढ़ राजेश कुमार, सीटीएम श्रीमती बलीना राणा ,जिला शिक्षा अधिकारी सतिंदर कौर वर्मा, जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी शशि अहलावत सहित अनेक शिक्षाविद, विभिन्न सामाजिक संस्थाओं के प्रतिनिधि, गणमान्य नागरिक व विद्यार्थी उपस्थित थे ।
( टुडे एक्सप्रेस न्यूज़ के लिए अजय वर्मा की रिपोर्ट )